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नियम 134-ए दाखिलों के लिए परेशान होते हुए अभिभावक व बच्चे परेशान निजी स्कूलों के लगा रहे चक्कर

Posted by : pramod goyal on : Saturday 18 December 2021 0 comments
pramod goyal
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  जिले रेवाड़ी के अभिभावक अपने बच्चों के दाखिलों में हो रही परेशानी पर सहायता हेतु कैलाश चंद एड्वोकेट के पास पहुँचे, जिस पर अधिवक्ता ने उनकी समस्या उच्च अधिकारियों तक पहुँचाई और साथ ही अलग से अपनीं तरफ से भी एक पत्र मुख्यमंत्री हरियाणा सरकार, शिक्षा मंत्री, व शिक्षा विभाग के आला अधिकारियों को पत्र भेजकर निजी स्कूलों की मनमानी पर कानूनी कार्यवाही के लिए आग्रह किया। उन्होंने बताया कि  प्रदेश के निजी स्कूल नियम 134-ए के तहत बच्चों को दाखिला देना ही नही चाहते हैं। इसलिय ये आमजन को परेशान करते आ रहे हैं।

हरियाणा प्रदेश  में शिक्षा का अधिकार कागज़ों में बना हुआ है, परन्तु हक़ीक़त में विफल हो रहा है। यह नियम 25 प्रतिशत का होते हुए हरियाणा सरकार द्वारा सिर्फ एक नोटिफिकेशन के आधार पर उसे 10 प्रतिशत ही करवाने की मंशा करती आ रही है। जबकि उस नोटिफिकेशन की समय सीमा 6 महीने की थी, जो समाप्त हो चुकी है।
हरियाणा शिक्षा अधिनियम 134-ए के तहत प्रदेश के गरीब परिवारों के बच्चों के प्रदेश के निजी स्कूलों में नियम 134- ए के तहत दाखिले होने का 25 प्रतिशत सीटों के लिये प्रावधान है, जिसके लिए इस वर्ष 2021 के लिए शिक्षा विभाग द्वारा आधा सेशन बीत जाने के बाद अक्टूबर - नवंबर माह में दाखिले के लिए सरकार द्वारा आवेदन मांगे गए। जिस पर पूरे प्रदेश से पूरे प्रदेश में 7384 निजी स्कूलों दाखिलों के लिये 66495 आवेदन आए और पूरे प्रदेश में रिक्त सीटे 204154 से भी अधिक थी। इस पर शिक्षा विभाग द्वारा दिनांक 05-12-2021 को शिक्षा विभाग आवेदन करने वाले बच्चों का स्क्रीन टेस्ट लिया गया था और जो बच्चे राजकीय स्कूलों में पहले से शिक्षा ग्रहण करते आ रहे थे , उन बच्चों का  राजकीय स्कूलों के द्वारा पिछली कक्षा में करवाये गए पेपर में प्राप्त अंकों को ही आधार बनाए रखा।  निजी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों के लिये गए टेस्ट में 55% से कम अंक लेने वाले बच्चों को शिक्षा विभाग द्वारा पहले ही बार कर दिया गया था।  शिक्षा विभाग के नियमानुसार 55% से ज्यादा अंक लेने पर ही बच्चों को स्कूल अलॉट किया गया।  उसके बाद मेरिट के आधार पर अंक हासिल करने वाले बच्चों को दिनांक 10-12-2021 को स्कूल अलॉट किया जाना था, परंतु बिना किसी सूचना दिए नया नोटिस जारी करते हुए 15-12 -2021 को स्कूल अलॉट करने का फरमान जारी कर दिया।  दिनांक 15-12- 2021 को सुबह 9:00 बजे से शाम 5:00 बजे तक भी आवेदन करने वाले बच्चों को स्कूल अलॉट नहीं किया गया, तो आमजन गरीब लोगों का सब्र का बांध टूट गया, तब काफ़ी लोगों ने कैलाश चंद एडवोकेट से संपर्क किया जिस पर अधिवक्ता द्वारा शिक्षा निदेशालय को पत्र लिखा। पत्र लिखने के मात्र 4 घंटे बाद ही शिक्षा निदेशालय द्वारा बच्चों को स्कूल अलॉट करने की लिस्ट जारी कर दी।  जब लिस्ट में अपना नाम लेकर बच्चें अलॉट किये गए स्कूल में दाखिले के लिए गए तो निजी स्कूलों ने दाखिला ना देने की बात कहकर आमजन व बच्चों को वापस भेज दिया। इस समस्या के बारे में काफी पीड़ितों ने कैलाश एडवोकेट के माध्यम से अपनी शिकायत निदेशालय जिला उपायुक्तों व जिला शिक्षा अधिकारियों को ईमेल के माध्यम से भिजवाई।  कैलाश चंद्र एडवोकेट द्वारा प्रदेश के शिक्षा विभाग के प्रिंसिपल सेक्रेटरी, निदेशालय, व प्रदेश के सभी जिला उपायुक्तों, जिला पुलिस अधीक्षकों जिला, शिक्षा अधिकारियों व  जिला बाल कल्याण अधिकारियों के ईमेल आईडी पूरे प्रदेश की लिस्ट जारी की। यह आमजन के लिए काफी कारगर साबित होगी। दिनांक 16-12- 2021 को शाम 5:30 बजे शिक्षा विभाग द्वारा नोटिस जारी कर सूचना दी गई कि जो लिस्ट पहले लगाई गई थी वह लिस्ट कैंसिल की जाती है और दूसरी लिस्ट जारी की जाएगी।  16-12- 2021 को रात 9:00 बजे उपरांत शिक्षा विभाग द्वारा नई लिस्ट जारी की गई।
134-ए के दाखिलों की पुरानी लिस्ट कैंसिल करके नई लिस्ट जारी की गई है, जो कि पूरे प्रदेश में प्रत्येक जिलों में अलॉट बच्चों की जिले  संख्या पूरे प्रदेश में  41680 है।
जिले वार सूची:-
अम्बाला :- 1973
भिवानी :-2186
चरखी दादरी :- 3266
फरीदाबाद :- 2779
फतेहाबाद:- 1382
गुरुग्राम :- 1570
हिसार :- 3268
झज्जर :- 2160
जींद :- 1914
कैथल :- 2299
करनाल :- 2760
कुरुक्षेत्र :- 2274
महेन्द्रेगढ़ :-1206


नूह :-726
पलवल :- 1675
पंचकूला :-445
पानीपत :- 2067
रेवाड़ी :- 2151
रोहतक :- 1797
सिरसा :- 1387
सिनोपत :- 2544
यमुनानगर :- 1970

सबसे ज्यादा हिसार-  3268
सबसे कम पंचकूला-  445

 शिक्षा द्वारा लिस्ट बदलने पर अभिभावक काफी असमंजस की स्थिति में नजर आए। दिनांक 17 -12- 2021 को नई लिस्ट के आधार पर शिक्षा विभाग द्वारा अलॉट किए गए स्कूल में बच्चे व अभिभावक अपने दाखिलों के लिए स्कूलों में पहुँचे तो निजी स्कूलों में दाखिले देने के लिए नए नए बहाने बनाए। किसी ने कहा एनुअल चार्ट, स्मार्ट क्लास, व अन्य खर्चे देने होंगे, किसी ने सिर्फ ट्यूशन फीस माफ करने की बात कही, अन्य खर्च जमा करने होंगे, किसी ने कुछ किसी ने कुछ बहाने बनाते हुए दाखिला देने से मना कर कर दिया। निजी स्कूलों की सोच है कि सरकार द्वारा दाखिलों की निर्धारित तारीख 24 दिसंबर 2021 है, उस तारीख को निकालने का मकसद है । उनका मानना है कि बाद में कह देंगे कि हमारे पास दाखिला लेने कोई आया ही नही, जिससे साफ- साफ लग रहा है कि निजी स्कूल 134-ए के बच्चों को दाखिला ही नहीं देना चाहते। कैलाश चंद एडवोकेट के पास आज  सैकड़ो की संख्या में आमजन सहयोग के लिए आए। जिस पर उन्होंने उनकी समस्या को उच्च अधिकारियो तक भिजवाया तथा  अन्य जिलों से भी उनके पास पीड़ित लोगों के फोन कॉल आ रहे हैं, जिसके लिए उन्होंने शिकायत का एक प्रोफार्मा तैयार करके उनके वाट्सप पर भेज दिया और उनको समझाया कि दाखिला देने से मना करने वाले स्कूलों के खिलाफ शिकायत ईमेल के माध्यम से उच्च अधिकारियों को भेज दें।  शिकायत पत्र के साथ अलग से एक लिस्ट भी पूरे प्रदेश के लिये सब पीड़ितों को भेज दी जिससे  उनको पूरे प्रदेश के जिलों के उवायुक्तो, जिला शिक्षा अधिकारियो की ईमेल तलाशने में दिक्क्क्त न आये।

  कैलाश चंद द्वारा खुद की ईमेल मोबाइल नम्बर भी दिए हैं । कोई भी पीड़ित आमजन कैलाश चंद एडवोकेट से संपर्क करके अपनी शिकायत उच्च अधिकारियों को भेज सकते हैं और उनका मकसद है कि किसी भी गरीब बच्चे को दाखिले से वंचित नहीं होने देंगे।  जिसके लिए आखिरी दम तक संघर्ष करते रहेंगे । उनके द्वारा अपना मोबाइल नंबर भी जारी किया गया है। उनके द्वारा जारी मोबाइल नंबर 98 170 81 972 नंबर पर नि:शुल्क सहायता ली जा सकती है।

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