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पेट्रोल, डीजल और रसोई गैस की कीमतों में हो रही बेतहाशा वृद्धि के खिलाफ वामपंथी पार्टियों ने प्रदर्शन किया

Posted by : pramod goyal on : Friday 18 June 2021 0 comments
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 फरीदाबाद 18 जून  पेट्रोल डीजल और रसोई गैस की कीमतों में हो रही बेतहाशा वृद्धि के खिलाफ वामपंथी पार्टियों ने आज अपनी आवाज बुलंद की और सड़कों पर उतर कर प्रदर्शन किया। पेट्रोलियम पदार्थों एवं बेरोजगारी तथा कमरतोड़ महंगाई के विरोध में आज सीपीएम और सीपीआई के कार्यकर्ताओं ने एनआईटी फरीदाबाद में प्रदर्शन करते हुए बड़खल के एसडीएम को देश के महामहिम राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन सौंपा। प्रदर्शनकारियों का नेतृत्व सीपीएम के जिला सचिव शिव प्रसाद एवं सीपीआई के जिला सचिव बेचू गिरी ने संयुक्त रूप से किया। सीपीआई के कार्यकर्ता फावड़ा सिंह चौक से नारे लगाते हुए एनआईटी के नंबर एक मार्केट से होते हुए एसडीएम बड़खल के कार्यालय में पहुंचे। इनका नेतृत्व कामरेड आर एन सिंह कर रहे थे। प्रदर्शनकारी पेट्रोल और डीजल तथा रसोई गैस की बढ़ी हुई कीमतों को वापस लो, महंगाई पर रोक लगाओ के नारे लगा रहे थे। एसडीएम कार्यालय के मुख्य द्वार पर दोनों पार्टियों के कार्यकर्ताओं की सभा हुई। इस सभा का संचालन सीपीएम के जिला कमेटी सदस्य वीरेंद्र सिंह डंगवाल ने किया। सभा को संबोधित करते हुए सीपीएम के जिला सेक्रेटरी शिव प्रसाद ने भाजपा पर महंगाई को बढ़ाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि जब बीजेपी सरकार सत्ता से बाहर थी। तब पेट्रोल और डीजल की कीमतों में थोड़ी सी वृद्धि होने पर  सड़कों पर आकर प्रदर्शन किया करते थे। अब ईंधन के बाजार भाव आसमान छूने लगे हैं। लेकिन भाजपा के कार्यकर्ता चुपचाप बैठ कर तमाशा देख रहे हैं। सभा को सीपीआई के जिला सचिव कामरेड बेचू गिरी ने  संबोधित करते हुए बताया कि   भारतीय जनता पार्टी की जन विरोधी नीतियों के कारण महंगाई लगातार बढ़ रही है। पेट्रोल और डीजल की कीमतों में यह लगातार बढ़ोतरी ऐसे समय में हो रही है। जब देश के नागरिक कोविड-19 की दूसरी लहर की मार से जूझ रहे हैं। भारतीय जनता पार्टी की सरकार गरीबी नहीं बल्कि गरीबों को ही खत्म करना चाहती है। पेट्रोल डीजल ही नहीं रसोई गैस, के साथ साथ  सरसों के तेल की कीमतों भी आसमान छूने लगी हैं। अपने संबोधन में सीपीआई के नेता कामरेड आर एन सिंह ने कहा कि कोरोना की महामारी के कारण आम आदमी का जनजीवन प्रभावित हो रहा है। लोगों की नौकरियां चली गई रोजगार बचा नहीं काम धंधे सब बंद हो गए हैं। ऐसे में सरकार को लोगों को राहत देनी चाहिए थी। इसके बजाय आम लोगों के घरों में काम आने वाली वस्तुओं के ही दाम बढ़ा दिए। उन्होंने खोरी गांव में पिछले 30 वर्षों से रह रहे लाखों लोगों के 10 हजार मकानों पर जिला प्रशासन के द्वारा बुलडोजर चलाने की भी कड़े शब्दों में भर्त्सना की। जॉइंट ट्रेड यूनियन के कन्वीनर ने लाल बाबू शर्मा ने कहा कि पेट्रोल और रसोई गैस की मूल्य वृद्धि ने सभी को झकझोर कर रख दिया है। इन पदार्थों की कीमतों में उछाल आने की वजह से सभी प्रकार के वस्तुओं की कीमतें आसमान छूने लगी हैं। खाद्य पदार्थों की कीमतों में एकाएक उछाला गया है। सरकार को जनहित में रोज काम आने वाली वस्तुओं की कीमत पर नियंत्रण रखना चाहिए। उन्होंने बताया कि सरसों के तेल की कालाबाजारी होने लगी है। प्रदर्शनकारियों को सीपीआई के मिथिलेश कुमार और सीपीएम के विजय झा ने भी संबोधित किया अपने संबोधन में दोनों नेताओं ने बताया कि कच्चे तेल की कीमत अंतरराष्ट्रीय बाजार में कम है। लेकिन सरकार इनके रेट कम करने के बजाय दिन प्रतिदिन बढ़ाते जा रही है। भारत सरकार के पास कीमतों पर नियंत्रण रखने का आप कोई अधिकार नहीं रहा है। कीमतों में बढ़ोतरी की वजह से  आम लोगों को भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि यह काफी शर्म की बात है। कि पड़ोसी देशों में आज भी डीजल और पेट्रोल के दाम कम है। जबकि भारत में इनकी कीमत में लगातार वृद्धि हो रही है। इस सभा को वीरेंद्र पाल सिंह, राम सागर गुप्ता के अलावा बैंक कर्मचारी यूनियन के प्रधान ओम प्रकाश, बैजू सिंह, उधम सिंह, महेंद्र सिंह, विजय, विकास,के पी सिंह, महेश द्विवेदी, मनोज कुमार, महेंद्र सिंह, आदि ने भी संबोधित किया।



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