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इस सप्ताह 12 से 18 जनवरी, 9 केस मे 16 आरोपी गिरफ्तार

Posted by : pramod goyal on : Sunday 21 January 2024 0 comments
pramod goyal
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 साइबर अपराधीयो ने आपको फंसाने के लिए फेसबुक, ट्विटर से लेकर गूगल सर्च इंजन साईटस पर बिछा रखा है जाल, कस्टमर केयर नम्बर से मिलता-जुलता फेक कस्टमर केयर नम्बर कर रखे है अपडेट, रहे सावधान 


संदिग्ध मैसेज के लिंक पर ना करे क्लिक वरना हो सकता है आपका खाता खाली - पुलिस आयुक्त राकेश कुमार आर्य

फरीदाबाद: पुलिस द्वारा आमजन को साइबर ठगी से बचाने के लिए साइबर एडवाइजरी जारी की गई है जिसमें आमजन को सोशल मीडिया पर साइबर अपराधियों के द्वारा बिछाए गए जाल के संबंध में जागरुक किया है। साइबर अपराधियो द्वारा आमजन को कुछ मिनटो में लोन दिलान के नाम पर, नौकरी दिलान के नाम पर ट्रेडिंग कर मुनाफे के नाम पर इत्यादि तरिके से साइबर फ्रॉड किए जा रहे है।  


*साइबर अपराध के तरीके*:

*सोशल मीडिया पर कस्टमर केयर अधिकारी बनकर*:-

इस प्रकार के अपराधों में साइबर अपराधी ने आपको फंसाने के लिए फेसबुक, ट्विटर से लेकर गूगल सर्च इंजन साईटो पर जाल बिछा रखा है कस्टमर केयर नम्बर से मिलता-जुलता फेक कस्टमर केयर नम्बर अपडेट कर रखे है जब कोई उस नम्बर पर सम्पर्क करता है तो कस्टमर केयर नम्बर ऐक्टिव नही होता और दूसरे नम्बर से कॉल आती है और कस्टमर केयर अधिकारी बनकर बात करते हैं और नागरिको से विश्वास में लेकर निजी जानकारी प्राप्त कर लेते हैं यदि आप से कस्टमर केयर के माध्यम से निजी जानकारी प्राप्त करता है तो समझ जाए कि आप साइबर फ्रॉड के शिकार होने वाले है कभी भी कोई अंजान ऐप (Any Desk, Rust Desk etc.) लिंक डाउनलोड ना करें जिससे कोई व्यक्ति आपके सिस्टम को दूर बैठकर एक्सेस ले सकें तथा आरोपी आपकी एक छोटी सी गलती के लिए बैठे है जागरुकता ही बचाव है। 


*लोन दिलाने के नाम पर*:-

जरुरतमंद लोगों को लोन दिलाने के नाम पर रजिस्ट्रेशन फीस, सर्च रिपोर्ट, सर्वे रिपोर्ट, फाईल चार्ज इत्यादि के नाम पर साइबर फ्रॉड किए जा रहे है। प्राइवेट नम्बरों से नागरिकों को कम ब्याज दरों पर मनचाहा लोन दिलाने के नाम पर कॉलिंग कर साइबर फ्रॉड का शिकार बना रहे है। कुछ हूबहू डुप्लीकेट वेबसाइट बनाते है। कभी भी किसी भी संदिग्ध लिंक पर क्लिक ना करे कोई भी एसी ऐप्लिकेशन डाउनलोड ना करे जिसे आपके डिवाइस को रिमोटली कण्ट्रोल किया जा सके। किसी को भी अपनी व्यक्तिगत जानकारी सांझा ना करे।  

ऑनलाइन फ्रॉड से कैसे बचें-

ऑनलाइन फ्रॉड करने वाले साइबर अपराधी किसी बैंकिंग वेबसाइट की हूबहू डुप्लीकेट वेबसाइट बनाते हैं। जिसपर आरबीआई की सभी शर्त व गाइडलाइन भी मेंशन करते हैं। 

जो ऐप्स प्रीपेमेंट फीस, प्रोसेसिंग फीस या प्री क्लोजर फीस ज्यादा मांगे उनके इस्तेमाल से परहेज करना चाहिए.
अनवेरिफाइड ऑनलाइन बैंकिंग ऐप्स जो उधार देते हों उनसे बचना चाहिए. ऐसे फ्रॉड ऐप आपसे आपकी गोपनीय जानकारियां जैसे बैंक खाते संबंधित डीटेल्स, क्रेडिट और डेबिट कार्ड की जानकारी, पिन कार्ड या एड्रेस मांगते हैं.
किसी ऐप से लोन लेने से पहले ऐप स्टोर पर ऐसे ऐप की रेटिंग चेक करें. 
अगर ऐसे ऐप आरबीआई और नॉन बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनी से जुड़े हुए खुद को बता रहे हैं तो एक बार वेरिफाई जरूर कराएं.
किसी भी 'प्रोसीड' ऑप्शन पर क्लिक करने से पहले सभी जरूरी विवरणों को जरूर देखें। नियम और शर्तों को पहले ध्यान से पढ़े।  

साइबर पुलिस की उपलब्धियाँ:

12 जनवरी से 18 जनवरी तक फरीदाबाद की साइबर
पुलिस ने 9 केस सुलझाते हुए 16 आरोपियों को गिरफ्तार
कर 1 ,23 ,700

/ रूपए किए बरामद

3 केस साइबर सेंन्ट्रल 3 साइबर बल्लबगढ़ तथा 3 मामले साइबर एनआईटी के ने सुलझाए 

इस सप्ताह में साइबर पुलिस ने 173 शिकायतों का
निस्तारण करते हुए 27 ,700 / रूपए करवाए रिफंड वा
9,70 ,963/ रूपये बैंकों में सीज कराये गये।


साइबर ठगी होने पर किससे करें संपर्क

साइबर अपराध होने पर अपनी शिकायत साइबर हेल्पलाइन 1930 या https://cybercrime.gov.in पर दर्ज करवाएं। साइबर पुलिस द्वारा साइबर अपराधियों के बैंक खातों को फ्रीज करके ठगी से प्राप्त की गई राशि वापस आपके बैंक खाते में ट्रांसफर करवा दी जाएगी।

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