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फरीदाबाद। हरियाणा अभिभावक एकता मंच ने हरियाणा सरकार द्वारा 1 जुलाई को स्कूल खोलने के निर्णय का पुरजोर तरीके से विरोध किया है और अपने निर्णय को तुरंत वापस लेने की मांग की है ।मंच ने शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुजर , जो स्कूल खोलने के लिए सब से ज्यादा लालायित हैं से कहा है कि इजराइल फ्रांस और कई अन्य देशों में स्कूल खुलने वाले दिन ही हजारों छात्र व अभिभावक कोरोना की चपेट में आ गए थे और तुरंत ही स्कूल बंद करने पड़े थे। अगर हरियाणा में भी ऐसा हुआ तो यही हाल होगा। मंच के प्रदेश महासचिव कैलाश शर्मा ने सभी अभिभावकों से कहा है कि वह इस आदेश का पुरजोर विरोध करें ।फिर भी अगर सरकार अपने निर्णय पर अटल रहती है तब अपने बच्चों को किसी भी हालात में स्कूलों में ना भेजेंकोरोना से जब देश बचेगा, समाज बचेगा हम बचेंगे तो पढ़ाई भी बच जाएगी ।केंद्र सरकार ने पहले ही कह दिया है कि इस बार कोर्स में 30% की कमी की गई है और परीक्षाओं को काफी सरलीकरण किया जाएगाअतः जो अभिभावक करोना काल में ही बच्चों को स्कूल भेज कर आईएएस ,अाईपीएस व बड़ा अधिकारी बनाने की ललक रखे हुए हैं वह ध्यान रखें अपने बच्चे के जीवन से खिलवाड़ ना करें। अगर हम सब बच्चों को स्कूल नहीं भेजेंगे तो स्कूल वाले क्या दीवारों से सिर मारेंगे ।आप सब सरकार के इस निर्णय का विरोध करें अपने क्षेत्र के विधायक के पास जाकर के घंटी बजाएं। उनसे अपनी बात रखें और छात्र व अभिभावकों के हित में मुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री से इस विषय पर बात करने और निर्णय को वापस कराने के लिए कहें।
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